हिमाचल CM सुखविंदर सुक्खू के प्रिंसिपल एडवाइजर एवं हिमाचल प्रदेश स्टेट इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड (HPSEB) के चेयरमैन राम सुभग सिंह को अंदरखाते एक्सटेंशन देने की तैयारी चल रही है। IAS राम सुभग सिंह 5 दिन बाद यानी 31 जुलाई को रिटायर हो रहे हैं। इससे पहले ही उन्हें एक्सटेंशन देने की चर्चा शुरू हो गई है। वहीं इस पर बिजली बोर्ड कर्मचारी भड़क गए हैं। बिजली बोर्ड कर्मचारी यूनियन ने आरोप लगाया कि मौजूदा चेयरमैन के कार्यकाल में विद्युत बोर्ड की स्थिति ज्यादा दयनीय हुई है। आलम यह है कि बिजली बोर्ड के पास कर्मचारियों को महंगाई भत्ता (DA) देने के लिए पैसे नहीं हैं।
स्टेट इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड़ इम्प्लॉइज यूनियन के महासचिव हीरालाल वर्मा ने प्रदेश सरकार से मांग की है कि बोर्ड की हालत ज्यादा बिगाड़ने वाले अधिकारी को एक्सटेंशन न दिया जाए। गौर रहे कि पहले भी बोर्ड कर्मचारी चेयरमैन पर गंभीर आरोप लगा चुके हैं और मुख्यमंत्री से उन्हें बिजली बोर्ड से हटाने की मांग कर चुके हैं। पूर्व जयराम सरकार में राम सुभग सिंह मुख्य सचिव रहे हैं। उस दौरान विपक्ष में बैठी कांग्रेस ने भी उन पर गंभीर सवाल उठाए थे, क्योंकि उन्हें PMO में एक शिकायत के आधार पर मुख्य सचिव के पद से हटाया गया था। राज्य में सत्ता परिवर्तन हुआ और मुख्यमंत्री सुक्खू ने उन्हें प्रिंसिपल एडवाइजर टू CM के साथ-साथ HPSEB के चेयरमैन की बड़ी जिम्मेदारी सौंप दी। अब वह रिटायर हो रहे हैं। इस बीच उन्हें एक्सटेंशन देने की चर्चा शुरू हो गई है