राहत: स्लम डेवेलर्ज एक्ट के नियम तैयार, विधि विभाग को भेजे

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शहरी विकास विभाग ने झुग्गी-झोपड़ी में रहने वाले लोगों को दो बिस्वा जमीन का मालिकाना हक देने के नियम तैयार कर लिए हैं। इन्हें विधि विभाग को मंजूरी के लिए भेज दिया गया है। स्लम डेवेलर्ज एक्ट के तहत गरीब लोगों को दो बिस्वा जमीन का मालिकाना हक दिया जाएगा। हिमाचल में इसी साल विधानसभा चुनाव होने हैं। ऐसे में प्रदेश सरकार आचार संहिता से पहले गरीब लोगों को फायदा देने की तैयारी में है।हिमाचल प्रदेश में आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों को यह अधिकार निशुल्क मिलेगा। अन्य लोगों को कुछ राशि खर्च करनी होगी। सरकार के इस फैसले का हिमाचल में 13,000 से अधिक लोगों को फायदा होगा। स्लम डेवेलर्ज एक्ट को लेकर तय किए गए नियमों में इन लोगों के लिए कॉलोनियों में मूलभूत सुविधाएं देने के लिए शहरी निकायों में नगरपालिका विकास निधि का प्रावधान किया गया है।  प्रदेश सरकार की ओर से विकास कार्यों के लिए फंड जारी किया जाएगा। 

झुग्गी-झोपड़ियों में रहने वाले लोगों से एकत्र राशि भी इसी फंड में डाली जाएगी। शहरी विकास मंत्री सुरेश भारद्वाज ने कहा कि इस एक्ट का मुख्य उद्देश्य झुग्गी-झोपड़ियों में रहने वाले लोगों को संपत्ति का अधिकार देना है। शहरी क्षेत्रों में उन लोगों को राहत दी जा रही है, जो अन्य लोगों के लिए अपनी सेवाएं देते रहे हैं। इनके पास खुद की झोपड़ियों में बिजली और पानी तक की व्यवस्था नहीं है। इसका लाभ शिमला शहर ही नहीं बल्कि अन्य शहरी क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को मिलेगा। वहीं, शहरी विकास विभाग के निदेशक मनमोहन शर्मा ने कहा कि विभाग की ओर से स्लम डेवेलर्ज एक्ट को लेकर नियम तैयार किए गए हैं। विधि विभाग से मंजूरी मिलने के बाद आगामी प्रक्रिया शुरू की जाएगी। सरकार के इस फैसले से हजारों लोगों को फायदा होगा।